‘योर ऑनर’ वेब सीरीज का हिंदी रिव्यू
इस कोरोना काल में कोई भी थिएटर का रुख नहीं कर पा रहा है और अपने टीवी और मोबाइल पे ही अपना एंटरटेंनमेंट कर रहा है ऐसे में बॉलीवुड इंडस्ट्री भी इस टाइम को अच्छे से भुनाने में कोई कमी नहीं छोड़ रही है और एक के बाद एक वेब सीरीज O.T.T के प्लेटफार्म पर लॉन्च हो रही है। शायद इसलिए हर चैनल अब अपना O.T.T प्लेटफार्म भी लांच कर रहा है ताकि हर तरीके से दर्शको को अपने सांथ जोड़ सके।
इसी तर्ज पर सोनी भी अपने सीरीज को लांच करने के लिए एक नया प्लेटफार्म लाया है सोनी लिव प्लेटफार्म, जहाँ पर सोनी ने अपना पहले वेब सीरीज को रिलीज़ कर दिया है जिसका नाम है ‘योर ऑनर’। यह एक क्राइम, थ्रिलर बेस्ड सीरीज है जिसमे आपको मुख्य भूमिका में नज़र आ रहे हैं जिमी शेरगिल जोकि एक जज की भूमिका अदा कर रहे हैं।
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सीरीज में अच्छे जज और अच्छे बाप के इमोशनं को काफी अच्छे से दिखाया गया है। बाप अपने बच्चे के लिए क्या कर सकता है और कितना उसके बारे में केयर करता है यह आपको काफी सुकून देगा। कहानी के लम्बे और बोरिंग माहौल को छोड़ दें तो कहानी को एक बार देखा जा सकता है और अगर आप अच्छी एक्टिंग के दीवाने है तो हाँ आप इसे कई बार भी देख सकते हैं और निराश नहीं होंगे।
सीरीज की रेटिंग
सीरीज को IMBD पे 7.7 रेट मिला है 10 में से और वहीँ हम इस सीरीज को 5 में से 3 स्टार देंगे।
‘योर ऑनर’ वेब सीरीज की हिंदी में कहानी
कहानी एक क्राइम से शुरू होती है जहाँ एक टीनएज बच्चा एक कार एक्सीडेंट कर देता है मगर उसे बचाने की बजाय वह खुद वहां से भाग जाता है यानि हिट एंड रन केस। बच्चा एक जज का बेटा है और वह जज हैं जिमी शेरगिल जोकि अपने बच्चे को बचाने के लिए अब हर वह काम करते हैं जिससे वह उसे बच्चा सकें। कहानी का ट्विस्ट यह है की जिसे एक्सीडेंट करके जिमी का बेटा भगा था वह एक क्रिमिनल का बेटा था तो अब जिमी को अपने बच्चे को बचाने के लिए डबल मेहनत करनी पड़ रही है। दूसरी तरफ पुलिस भी गुथी को सुलझाने में लगी हुई है लेकिंन यहाँ जिमी उनसे आगे रहता है और अपने बच्चे को बच्चा लेता है।
अपने बच्चे को बचाने में जिमी अपने पद और गरिमा का कितना समान रखता है और कितना क्राइम के दलदल में घुस जाता है इसी तनाव और संघर्ष की कहानी है ‘योर ऑनर’।
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सीरीज में क्या सही है
दोस्तों अगर सीरीज में कुछ एक दो किरदारों की एक्टिंग को छोड़ दे तो बाकि सभी ने अपनी जबरदस्त एक्टिंग से समां बांधने का बढ़िया काम किया है। जिमी, वरुण बडोला, मिता वशिष्ट का काम वाकई देखने लायक है।
सीरीज में क्या गलत है
कहानी बहुत ज्यादा लम्बी है या यूँ कहें जरूरत से ज्यादा लम्बी बना दी गयी है। 10 से ज्यादा एपिडसोड दिखाना हमें नहीं लगता की डायरेक्टर ने यह अक्लमंदी का काम किया है।
दूसरा है स्क्रीन प्ले क्यूंकि डायरेक्टर ने यह कहानी एक इजराइली शो क्वोडो का हूबहू भारतीय वर्शन है। डायरेक्टर ने जरा भी मेहनत नहीं की है अपना दिमाग लगाने की और कहानी को कुछ नया रूप देने की।
कुछ किरदार जैसे जिम्मी का बेटा जोकि काफी एहम किरदार भी है, उसकी एक्टिंग आपको काफी फेक लगेगी।
सीरीज की स्टार कास्ट
जिमी शेरगिल, मिता वशिष्ट, यशपाल शर्मा, वरुण बडोला, सुहासिनी मुलाय, महाबीर भुल्लर, पारुल गुलाटी, गौरव अम्लानी, अनुज सिंह दुहन, बिक्रमजीत कंवरपाल, पुलकित मकोल, तानिया कालरा, ऋचा पलोड, भानी सिंह
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